कवर्धादुर्ग

हरा चारा उत्पादन विषय पर प्रशिक्षण का आयोजन

हरा चारा उत्पादन विषय पर प्रशिक्षण का आयोजन

कवर्धा, । सुराजी गांव योजनांतर्गत वर्षभर आदर्श गौठानों में वर्षभर हरा चारा उत्पादन तकनीक पर 4 एवं 5 अगस्त को क्रमशः उद्यानिकी विभाग एवं पशुपालन विभाग के सेवारत अधिकारियों एवं कर्मचारियों एवं 11 एवं 12 अगस्त को कृषि विभाग के सेवारत अधिकारियों एवं कर्मचारियों के लिए प्रशिक्षण का आयोजन कृषि विज्ञान में किया गया। जिसका मुख्य उद्देश्य सभी गौठानों में उन्नत तकनीकी से वर्षभर हरा चारा उपलब्ध हो सके एवं गौठान में रहने वाले पशुओं को अच्छा पोषक आहार प्राप्त हो।
छत्तीसगढ़ शासन के महत्वाकाक्षी योजना सुराजी गांव अंतर्गत जिले में स्थापित गौठानों में शासन के निर्देशानुसार पांच एकड़ जमीन में चारागाह विकास किया जाना है। जिससे गौठानों में आने वाले पशुधन के लिए वर्षभर हरे चारे का प्रबंध किया जा सके। कलेक्टर श्री रमेश कुमार शर्मा द्वारा गौठानों के पास पांच एकड़ जमीन चिन्हांकित कर सिंचाई एवं फेंसिंग कार्य अविलंब पूर्ण करने के लिए संबंधित विभाग को पूर्व में ही प्रदाय किया जा चुका है। चारा उत्पादन का कार्य महिला स्व. सहायता समूहों के माध्यम से किया जाएगा। इसी तारतम्य में विभागीय मैदानी अमलो को चारा उत्पादन तकनीक पर कृषि विज्ञान केन्द्र, कवर्धा में प्रशिक्षण प्रदाय किया गया है। जिसमें केन्द्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं प्रमुख डॉ. बी.पी. त्रिपाठी ने प्रशिक्षणार्थियों को सुराजी गाय योजना में कृषि विज्ञान केन्द्र की भूमिका एवं पशुओं के पोषण आहार में हरे चारा का महत्व के संबंध में जानकारी दी। श्रीमती राजेश्वरी साहू, विषय वस्तु विशेषज्ञ उद्यानिकी द्वारा अजोला उत्पादन, हरे चारे के लिए उपयोगी उद्यानिकी फसलें जैसे लोबिया आदि फसलो के उत्पादन तकनीक की जानकारी दी गई। श्री बी.एस. परिहार, विषय वस्तु विशेषज्ञ, सस्य विज्ञान द्वारा गाँठानों में वर्षभर हरा चारा उत्पादन के लिए पांच एकड़ जमीन की विस्तृत कार्ययोजना एवं विभिन्न ऋतुओं में लगाये जाने याले फसल जैसे नेपियर, बहुवर्षीय ज्वार, मक्का, जई, सुडान घास आदि के विस्तृत उत्पादन तकनीक की जानकारी दी गई। प्रशिक्षण उपरांत सभी प्रशिक्षणार्थियों को कृषि विज्ञान केन्द्र अंतर्गत चारा उत्पादन इकाई, पशुधन उत्पादन इकाई का भ्रमण कराया गया।

Related Articles

Back to top button